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Corona Live Counting | कोरोना लाइव काउन्टींग

Novel Coronavirus Information Center

नोवेल कोरोनावायरस

Elsevier’s free health and medical research on the novel coronavirus (SARS-CoV-2) and COVID-19




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Live Counting Of Corona Patient In India


2019 नोवेल कोरोनावायरस (2019 novel coronavirus, 2019-nCoV), जो वूहान कोरोनावायरस (Wuhan coronavirus) भी कहलाता है,[1][2][3] संक्रमण (रोग) फैलाने वाला कोरोनावायरस प्रकार का एक वायरस (विषाणु) है जो श्वसन तंत्र संक्रमण उत्पन्न करता है और मानव-से-मानव में फैलता है। इसकी पहचान सर्वप्रथम सन् 2019-20 में वूहानहूबेईचीन में करी गई थी, जहाँ यह 2019–20 वुहान कोरोना वायरस प्रकोप का कारक था। इसके एक पशुजन्यरोग होने के संकेत हैं कि इसके पहले ज्ञात रोगी वूहान के एक ऐसे बाज़ार से सम्बन्धित थे जहाँ तरह-तरह के प्राणी माँस के लिए बिकते थे। सम्भव है कि यह आरम्भ में चमगादड़ [4] से मानव में फैला हो क्योंकि इस बाज़ार में चमगादड़ भी खाए जाते हैं और इस वायरस का चमगादड़ों में पाए जाने वाले कुछ कोरोनावायरस से अनुवांशिक समानताएँ मिलती हैं।[5][6][7][8]यह भी माना जा रहा है कि यह वायरस पैंगोलिन से मानव में फैला हो।[9]इस वायरस के मानव-से-मानव संचरण की पुष्टि 2019-20 कोरोनोवायरस महामारी के दौरान की गई है। इसका प्रसार मुख्य रूप से लगभग 6 फीट (1.8 मीटर) की सीमा के भीतर खांसी और छींक से बूंदों के माध्यम से होता है। दूषित सतहों के माध्यम से अप्रत्यक्ष संपर्क, संक्रमण का एक और संभावित कारण है।[10][11]

क्योंकि इस बीमारी को पहली बार ढूंढा गया था वुहान,चीन, में लेकिन इसे कभी-कभी "वुहान वायरस" या "वुहान कोरोनावायरस" कहा जाता है।",<",[12][13][14][15] मगर विश्व स्वास्थ्य संगठन (ब्ल्यूएचओ जगहों के नामों के आधार पर प्रयोग करने पर मना करता है.[16] सार्स बीमारी के साथ भ्रम से बचने के लिए, विश्व स्वास्थ्य संगठन कभी-कभी वायरस को "कोविट-19 के लिए जिम्मेदार वायरस" या "कोविट-19 वायरस" के रूप में सार्वजनिक स्वास्थ्य संचार में बताता है [17]

वुहान कोरोना वायरस प्रकोप (2019–20)  की शुरुआत एक नए किस्म के कोरोनवायरस (2019-nCoV) के संक्रमण के रूप में मध्य चीन के वुहान शहर में 2019 के मध्य दिसंबर में हुई। बहुत से लोगों को बिना किसी कारण निमोनिया होने लगा और यह देखा गया की पीड़ित लोगों में से अधिकतर लोग हुआँन सीफ़ूड मार्केट में मछलियाँ बेचते हैं तथा जीवित पशुओं का भी व्यापर करते हैं। चीनी वैज्ञानिकों ने बाद में कोरोनावायरस की एक नई नस्ल की पहचान की जिसे 2019-nCoV प्रारंभिक पदनाम दिया गया। इस नए वायरस में कम से कम 70 प्रतिशत वही जीनोम अनुक्रम पाए गए जो सार्स-कोरोनावायरस में पाए जाते हैं। संक्रमण का पता लगाने के लिए एक विशिष्ट नैदानिक पीसीआर परीक्षण के विकास के साथ कई मामलों की पुष्टि उन लोगों में हुई जो सीधे बाजार से जुड़े हुए थे और उन लोगों में भी इस वायरस का पता लगा जो सीधे उस मार्केट से नहीं जुड़े हुए थे। अभी स्पष्ट नहीं है कि यह वायरस सार्स जितनी ही गंभीरता या घातकता का है

संक्रमण से बचने के लिए क्या करें?
कोरोना वायरस से संक्रमण से बचाव के लिए संक्रमित लोगों से दूर रहना चाहिए. भीड़ में जाने पर हाथ-मुंह धोना चाहिए, बुखार और खांसी होने पर घरेलू और सामान्य उपचार करने के बजाय तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. अगर आप सी फूड का सेवन करते हैं तो तुरंत उससे बचना चाहिए. कोरोना वायरस का संक्रमण पीड़ित व्यक्ति से हाथ मिलाने से भी हो सकता है.

इसे भी पढ़ें: क्या है कोरोना वायरस, क्या हैं इसके लक्षण?

क्या है कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों का इलाज?
कोरोना वायरस से पीड़ित लोगों का अन्य दवाइयों के साथ इलाज किया जा रहा है. वैज्ञानिक कोरोना वायरस का इलाज और वैक्सीन बनाने का काम कर रहे हैं.

रायटर्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक चीन इस समय एचआईवी के इलाज में इस्तेमाल होने वाली दवा आलुविया से कोरोना का इलाज करने की कोशिश में जुटा है.

डॉक्टर का कहना है कि कोरोना से प्रभावित या संक्रमित व्यक्ति का इलाज विशेषज्ञ की निगरानी में ही कराया जाना चाहिए. आम तौर पर आप सर्दी-जुकाम कम करने के प्राकृतिक उपाय कर कोरोना के संक्रमण पर काफी हद तक काबू पा सकते हैं. इसके लिए रूम ह्युमिडिफायर का उपयोग या गर्म पानी से नहाने जैसे काम किये जा सकते हैं.

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